पूरे देश में 21 जून से लगेगा कोरोना का मुफ्त टीका, क्या आपको भी जानना है इन सवालों के जवाब


देश में चल रहा है टीकाकरण अभियान. (File pic)
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) की घोषणा के साथ ही वैक्सीनेशन प्रोग्राम (Vaccination Program) को तेज करने की भी बात कही गई थी. सरकारी अस्पतालों में भले ही कोरोना की मुफ्त डोज दी जाएगी लेकिन निजी अस्पतालों में कोरोना वैक्सीन (Corona Vaccine) लगवाने वालों को पहले की तरह ही कीमत चुकानी होगी.
नई दिल्ली. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में इस बात की घोषणा की थी कि आगामी 21 जून से देश में 18 साल के ऊपर के सभी नागरिकों को मुफ्त में कोरोना वैक्सीन (Corona Vaccine) लगाई जाएगी. इस घोषणा के साथ ही वैक्सीनेशन प्रोग्राम (Vaccination Program) को तेज करने की भी बात कही गई थी. सरकारी अस्पतालों में भले ही कोरोना की मुफ्त डोज दी जाएगी लेकिन निजी अस्पतालों में कोरोना वैक्सीन लगवाने वालों को पहले की तरह ही कीमत चुकानी होगी.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वैक्सीन को लेकर की गई घोषणा के बाद लोगों के जेहन में कई तरह के सवाल आ रहे हैं. लोग अभी भी ये जानने के उत्सुक हैं कि क्या उन्हें वैक्सीनेशन सेंटर पर कोई फीस देनी होगी या नहीं. प्राइवेट अस्पतालों में ली जा रही फीस पर किस तरह से सरकार नजर रखेगी.
आइए ऐसे ही कोरोना वैक्सीनेशन प्रोग्राम को लेकर पूछे गए कुछ सवालों के जवाब जानते हैं :-
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मेरी उम्र 18 साल से ज्यादा है, क्या अब मुझे पूरी तरह से मुफ्त में टीका लगाया जाएगा?
हां, ये बिल्कुल सही है कि 21 जून से 18 साल के ऊपर के सभी नागरिकों को मुफ्त में कोरोना वैक्सीन लगाई जाएगी. हालांकि इसमें ये भी साफ है ये सुविधा केवल सरकारी टीकाकरण केंद्रों पर ही उपलब्ध होगी. इससे पहले 1 मई को जो टीकाकरण नीति बनाई गई थी उसमें राज्यों को केंद्र से टीका खरीदना था. इसके बाद अगर राज्य सरकारें चाहें तो टीका मुफ्त में अपने राज्य के नागरिकों को लगवा सकती थीं. इस दौरान केवल हेल्थकेयर वर्कर्स, फ्रंटलाइन वर्कर्स और 45 साल से ऊपर की उम्र के लोगों के लिए ही केंद्र सरकार के वैक्सीनेशन सेंटर्स पर फ्री में वैक्सीन दी जानी थी. हालांकि अब इस नियम में बदलाव कर सभी को मुफ्त वैक्सीन देने की बात कही गई है.
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अगर मैं प्राइवेट अस्पताल में टीका लगवाता हूं तो क्या मुझे उसके पैसे देने होंगे?
हां, बिल्कुल. सरकार की ओर से मुफ्त वैक्सीन देने की बात केवल सरकारी टीकाकरण केंद्रों के लिए ही है. अगर कोई प्राइवेट अस्पताल में कोरोना वैक्सीन लगवाता है तो उसे उसका भुगतान करना होगा. हालांकि अस्पतालों के लिए भी वैक्सीन की कीमत पहले से ही तय कर दी गई है. इसके ऊपर अस्पताल केवल 150 रुपये ही ले सकेंगे. अगर आप प्राइवेट अस्पताल में वैक्सीन लगवाते हैं तो उन्हें वैक्सीन की पूरी कीमत के बारे में आपको जानकारी देनी होगी.
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वैक्सीन निर्माता कंपनियों से टीका खरीदने की क्या है पॉलिसी?
सरकार की ओर से साफ कर दिया गया है कि वैक्सीन कंपनियों द्वारा तैयार की जा रही वैक्सीन का 75 पर्सेंट हिस्सा केंद्र सरकार सीधे कंपनी से खरीदेगी और राज्य सरकारों को उसके कोटे के हिसाब से मुहैया कराएगी. इसके अलावा 25 पर्सेंट अस्पताल सीधे कंपनी से खरीद सकते हैं. राज्य सरकार केंद्र की ओर से भेजी जा रही कोरोना वैक्सीन की डोज को 18 साल के ऊपर के सभी नागरिकों को मुफ्त में लगवाएंगी.
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क्या राज्य सरकार अब वैक्सीन कंपनी से सीधे टीका नहीं खरीद सकेंगी?
नहीं अब ऐसा नहीं हो सकेगा. 21 जून से जब देश के सभी नागरिकों को मुफ्त में कोरोना वैक्सीन उपलब्ध कराई जाएगी तब राज्यों की भूमिका वैक्सीन खरीदने को लेकर पूरी तरह से खत्म हो जाएगी. केंद्र सरकार वैक्सीन निर्माता कंपनियों से सीधे डोज खरीदेंगी और राज्य सरकारों को मुहैया कराएंगी.
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प्राइवेट अस्पतालों को कितनी वैक्सीन की डोज दी जाएगी?
केंद्र सरकार वैक्सीन निर्माता कंपनी से 75 प्रतिशत डोज खरीद लेगी और जो 25 प्रतिशत बचेगा उसे प्राइवेट अस्पताल ले सकेंगे. कई लोग सरकारी अस्पतालों में लगने वाली लाइन से बचना चाहते हैं. ऐसे में उन लोगों के लिए प्राइवेट अस्पतालों में भी वैक्सीनेशन करने की इजाजत दी गई थी. हालांकि प्राइवेट अस्पतालों में कोरोना टीका लगवाने के लिए भुगतान करना होगा. प्राइवेट अस्पतालों में वैक्सीन फ्री में नहीं लगाई जाएगी.