मुनाफावसूली से सेंसेक्स 566 अंक टूटकर 60,000 अंक से नीचे, निफ्टी भी 150 अंक लुढ़का Sensex falls 566 points below 60,000 mark on profit-booking, Nifty also falls by 150 points


bse
Highlights
- 9,610.41 अंक पर बंद हुआ बीएसई सेंसेक्स
- 17,807.65 अंक पर बंद हुआ एनएसई निफ्टी
- कमजोर वैश्विक रुख से निवेशकों की धारणा प्रभावित हुई
नई दिल्ली। घरेलू शेयर बाजारों में बुधवार को लगातार दूसरे दिन गिरावट रही और बीएसई सेंसेक्स 566 अंक लुढ़क कर 60,000 अंक के स्तर से नीचे आ गया। वैश्विक स्तर पर कमजोर रुख के बीच बैंक और आईटी शेयरों में भारी बिकवाली से बाजार नीचे आया। तीस शेयरों पर आधारित सेंसेक्स 566.09 अंक यानी 0.94 प्रतिशत का गोता लगाकर 59,610.41 अंक पर बंद हुआ। कारोबार के दौरान एक समय यह 666.66 अंक टूटकर 59,509.84 तक आ गया था। सेंसेक्स के 30 शेयरों में से 20 नुकसान में रहे। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी भी 149.75 अंक यानी 0.83 प्रतिशत की गिरावट के साथ 17,807.65 अंक पर बंद हुआ।
फेडरल रिजर्व की टिप्पणी का असर
विश्लेषकों के अनुसार, ब्याज दर से संबंधित शेयरों में गिरावट रही। इसका कारण अमेरिकी फेडरल रिजर्व के गवर्नर एल ब्रेनार्ड की टिप्पणी है। उनकी टिप्पणी से इस आशंका को बल मिला है कि अमेरिकी केंद्रीय बैंक आक्रमक तरीके से ब्याज दर बढ़ाएगा। रूस पर पाबंदियां बढ़ाये जाने का भी प्रभाव पड़ा है। रेलिगेयर ब्रोकिंग लि.के उपाध्यक्ष (शोध) अजित मिश्रा ने कहा, बाजार में लगातार दूसरे दिन गिरावट रही। कमजोर वैश्विक रुख अैर अमेरिकी फेडरल रिजर्व के आक्रामक रुख तथा रूस पर और पाबंदियों की आशंका से निवेशकों की धारणा प्रभावित हुई।
आईटी शेयरों के सूचकांकों में भी नरमी
जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, वैश्विक स्तर पर कमजोर रुख के बीच एचडीएफसी समूह के शेयरों में गिरावट तथा तिमाही परिणाम अच्छे नहीं रहने की आशंका से आईटी क्षेत्र के कमजोर प्रदर्शन से मुख्य सूचकांकों में नरमी रही। आरबीआई की मौद्रिक नीति की घोषणा से पहले बाजार में उतार-चढ़ाव रह सकता है। रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति की बैठक बुधवार को शुरू हुई। बैठक में किये गये निर्णय की घोषणा आठ अप्रैल को की जाएगी। फेडरल रिजर्व के गवर्नर ने कहा कि केंद्रीय बैंक मार्च के बाद फिर से ब्याज दर बढ़ाने को तैयार है और मई बैठक में बांड में कमी किये जाने के बारे में निर्णय कर सकता है। बैंकों में कोटक बैंक, एक्सिस बैंक और इंडसइंड बैंक नुकसान में रहे। इसके अलावा रिलायंस इंडस्ट्रीज, महिंद्रा एंड महिंद्रा, डॉ.रेड्डीज, विप्रो, बजाज फाइनेंस और टाइटन में भी गिरावट रही। दूसरी तरफ एनटीपीसी (2.61 प्रतिशत), टाटा स्टील (1.94 प्रतिशत), पावरग्रिड (1.52 प्रतिशत) और भारती एयरटेल (1.17 प्रतिशत) लाभ में रहे। नेस्ले, लार्सन एंड टुब्रो, एसबीआई और एशियन पेंट्स बढ़त में रहे।
वैश्विक बाजार में गिरावट से माहौल बिगड़ा
रिलायंस सिक्योरिटीज के शोध प्रमुख मितुल शाह ने कहा, अमेरिकी शेयर बाजार में मंगलवार की गिरावट का असर घरेलू बाजार पर पड़ा। निवेशकों को आशंका है कि फेडरल रिजर्व ब्याज दर में अच्छी-खासी वृद्धि कर सकता है।’’ एशिया के अन्य बाजारों में हांगकांग का हैंगसेंग, जापान का निक्की और दक्षिण कोरिया का कॉस्पी नुकसान में रहे, जबकि चीन का शंघाई कंपोजिट लाभ में रहा। इस बीच, अंतरराष्ट्रीय तेल मानक ब्रेंट क्रूड 0.93 प्रतिशत की बढ़त के साथ 107.6 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया।